चीन में फैल रहा एचएमपीवी वायरस भारत के बेंगलुरु राज्य में मिला पहला केस

चीन में फैल रहा है यह कोरोना वायरस जैसा एचएनबी वायरस अब तक भारत में 6 केस सामने आ चुकी है।  सोमवार को अहमदाबाद में 2 महीने के बच्चे में ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस एचएमपीवी का संक्रमण मिला है। यह बच्चा राजस्थान का है और यह इलाज के लिए अहमदाबाद शहर पहुंचा हुआ है।इससे पहले सोमवार को सुबह कर्नाटक में 3 महीने की बच्ची और 8 महीने के बच्चे में यह वायरस देखने को मिला था


दोनों बच्चों का इलाज बेंगलुरु के एक अस्पताल में की जा रही है। यह वायरस पश्चिम बंगाल के 5 महीने बच्चे में भी मिला है। और इसका इलाज एक के प्राइवेट हॉस्पिटल में किया जा रहा है। वहीं तमिलनाडु के चेन्नई में भी दो बच्चे इस वायरस से संक्रमित मिले हैं। इनके बारे में अभी ज्यादा जानकारी सामने नहीं आई है।


एचएमपीवी वायरस को लेकर के भारत के स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा ने क्या कहा 

एक्सपोर्ट का दावा है कि HMPV कोई नया वायरस नहीं है। यह वायरस 2001 में पहली बार पहचान की जा चुकी थी। इसके बाद यह दुनिया में पूरी तरह से फैल गया। 



यह वायरस सांस लेने से फैलता है और संक्रमित व्यक्तियों को संपर्क में आने से इस वायरस का खतरा ज्यादा होता है। यह वायरस सभी उम्र के लोगों पर प्रभाव डालता है। WHO हालात पर नजर बनाए हुए हैं और बहुत जल्दी लोगों के सामने उत्तर प्रस्तुत की जाएगी।


गुजरात का बच्चा पहले से था बीमार और कर्नाटक में रूटिंग जांच में मिला यह वायरस

अहमदाबाद में 2 महीने से बच्चों का तबीयत लगातार खराब होता जा रहा था। इस बच्चे को लगभग 15 दिन पहले अस्पताल में भर्ती कराया गया था। फिर उसे बच्चों को तेज बुखार और सर्दी के लक्षण दिखाई दिए। शुरुआत में 5 दिन तक उसे बच्चों को वेंटिलेटर पर रखा गया था। फिर इसके बाद हुए जांच से पता चला कि उस बच्चों को वायरस ने संक्रमित कर दिया है


कर्नाटक के दोनों कैसे के बारे में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया है कि बच्चे रूटीन जांच के लिए वे अस्पताल पहुंचे हुए थे। टेस्ट करने पर उनका रिपोर्ट पॉजिटिव केस मिला। वैसे कर्नाटक के स्वास्थ्य विभाग ने इसे साफ इनकार कर दिया है। उनका कहना है कि सैंपल निजी अस्पताल में टेस्ट कराए गए हैं और उन्होंने सरकारी लैब में जांच नहीं कराई है।


छोटे बच्चे पर यह वायरस ज्यादा अटैक कर रहा है

यह वायरस के लक्षण जैसे कोविड की तरह है। छोटे बच्चों पर सबसे ज्यादा असर एचएमपीवी वायरस से संक्रमित होने पर मरीजों में सर्दी और कॉविड-19 जैसे लक्षण दिखाई पड़ते हैं।


इस वायरस का सबसे ज्यादा असर छोटे बच्चों पर देखा जा रहा है। और इनमें से 2 साल से कम उम्र वाले बच्चों को या वायरस सबसे ज्यादा प्रभावित कर रहा है।


अमेरिका का कहना है कि यह वायरस साधारण संक्रमण जैसा है


अमेरिका के टेक्सास राज्य के डालस में covidrxExchange के फाउंडर और चीफ एग्जीक्यूटिव डॉक्टर शशांक हेडा का कहना है कि यह वायरस साधारण है। उन्होंने मीडिया से कहा है कि इस वाइरस को लेकर के लोग बड़ा चड़ाकर करके दिखाए जा रहे है।


अमूमन यह वायरस ज्यादा खतरनाक नहीं है। जबकि डाटा बताते हैं कि अस्पतालों में हुए अचानक से हुई वृद्धि सिर्फ HMPV वायरस ही नहीं है बल्कि अन्य कई वायरल संक्रमण है।HMPV जैसे वायरस आमतौर पर इस मौसम में ज्यादा देखने को मिलते हैं। और कुछ समय बाद इस वायरस में स्वाभाविक तौर पर काम हो जाते हैं।



अस्पतालों में ज्यादा लोगों का भर्ती होने का यह मतलब नहीं हो सकता है कि स्वास्थ्य सेवाएं ठप हो चुकी है। स्थिति पर निगरानी और संक्रमित हुए लोगों को मेडिकल ट्रीटमेंट देना आवश्यक है। परंतु इस वायरस को कोरोना के डेल्टा वेरिएंट जैसे महामारी के संकट से जोड़कर नहीं देखा जा सकता है क्योंकि इसकी संभावना बहुत ही कम है


वायरस की स्थिति भारत में


1. कर्नाटक के मुख्यमंत्री  सिद्धारमैया ने कहा है दो बच्चों में वायरस की पहचान हुई है और मैने जल्द से जल्द कर्नाटक के स्वास्थ्य मंत्री दिनेश गुड्डू राव से बातचीत की। इस वायरस को खत्म करने के लिए अपने स्तर पर सरकार हर संभव निरंतर प्रयास करेगी


2. कर्नाटक के स्वास्थ्य मंत्री श्री दिनेश गुड्डू राव ने कहा है कि यह वायरस कोई ज्यादा खतरनाक नहीं है। एचएमपीवी एक फ्लू है। और इसे आपको घबराने की कोई भी जरूरत नहीं है। इस पर हम लगातार नजर रख रहे हैं और अपने पैनल के साथ बैठक कर रहे हैं। और इस विषय पर हम भारत सरकार से चर्चा करेंगे।


3. पश्चिम बंगाल में भी HMPV के एक केस मिले हैं लेकिन बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने इसे खारिज कर दिया है। उन्होंने कहा है कि अब तक हमारे राज्य में ऐसा कोई भी मामला सामने नहीं आया है।



केंद्र सरकार ने इस वायरस को लेकर क्या कहा है


आमतौर पर एचएमपीवी वायरस सर्दी के मौसम में बढ़ते हैं। और यह वायरस चीन के अस्पतालों में इमरजेंसी जैसी हालत बनने की बात की जा रही है। हालांकि भारत सरकार ने 4 जनवरी को जॉइंट मॉनिटरिंग ग्रुप की बैठा के करी थी। और इसके बाद से सरकार ने यह कहा है कि फ्लू के मौसम को देखते हुए चीन की स्थिति अभी सामान्य नहीं है और सरकार इस वायरस से निपटने के लिए तैयार है।



इसी के साथ केंद्र सरकार ने यह भी कहा है कि भारत देश सांस से जुड़ी बीमारियों के मामलों में किसी भी बढ़त से निपटने के लिए पूरी तरह से मुस्तैद है। चीन में बढ़ते हुए मामले की वजह RSV और HMPV देखी जा रही है। इन मौसम में यह इन्फ्लूएंजा के सामान्य वायरस है। सरकार स्थिति पर पैनी नजर रखी हुई है। और इसके साथ ही WHO से चीन की स्थिति के बारे में समय-समय पर समाचार देने को कहा है।


केंद्र सरकार से जारी किए गए सलाह जो लोगों को फॉलो करनी चाहिए

हमें क्या करना चाहिए

1.जब भी आप खास रहे हो या आपको छींक आ रही हो तो कोशिश करें कि मुंह और नाक को ढक ले,हो सके तो रुमाल या टिशू पेपर से ढके।

2.हाथों को लगातार साबुन और पानी से धोते रहे या फिर आप सैनिटाइजर भी इस्तेमाल कर सकते हैं।

3.ऐसी जगह से बच्चे जहां भीड़ भाड़ वाली जगह हो।

4.यदि आपको खांसी छींक या फिर बुखार आ रही हो तो फिर कोशिश करें कि पब्लिक प्लेस से दूर रहे।

5.संक्रमण को कम करने के लिए वेंटीलेशन का इंतजाम कर ले।

6.यदि आप बीमार है तो कोशिश कीजिए कि घर पर रहे और दूसरों से दूरी बनाकर रहे।

7.ज्यादा से ज्यादा पौष्टिक आहार खाए और जितना हो सके पानी पिए।


हमें क्या नहीं करनी चाहिए

1.रुमाल और टिशू पेपर को दोबारा इस्तेमाल भूल कर भी ना करें।

2.बीमार लोगों के साथ ज्यादा संपर्क में ना आए। उनके सामान जैसे टॉवेल या टिशू पेपर का इस्तेमाल न करें।

3.बार-बार अपनी आंख नाक और चेहरे को छूने से बच्चे।

4.पब्लिक प्लेस पर थूके नहीं।

5.डॉक्टर से बिना साल लिए हुए खुद से दवा कभी ना ले।

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